Gandhi Jayanti Per Nibandh

Gandhi Jayanti Per Nibandh- महात्मा गांधी, जिन्हें राष्ट्रपिता के रूप में जाना जाता है, भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महान नेता थे। उन्होंने अहिंसा, सत्याग्रह, और खुदाई की महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और भारतीय स्वतंत्रता संग्राम को एक महान सफलता तक पहुंचाया। गाँधी जयंती हर वर्ष 2 अक्टूबर को मनाई जाती है क्योकि इस दिन महात्मा गांधी जी का जन्म हुआ था।

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Gandhi Jayanti Per Nibandh (गांधी जयंती पर निबंध 1000 शब्दों में)
Gandhi Jayanti Per Nibandh (गांधी जयंती पर निबंध 1000 शब्दों में)

Gandhi Jayanti Per Nibandh (गांधी जयंती पर निबंध 1000 शब्दों में)

प्रस्तावना

हमारा देश महान स्त्रियो और पुरुषो का देश है जिन्होंने देश के लिए ऐसे महान कार्य किये है जिन्हे भारतवासी सदा याद रखेंगे। कई महापुरुषों ने हमारी आजादी की लड़ाई में अपना तन-मन-धन परिवार सब कुछ अर्पण कर दिया। ऐसे ही महापुरुषों में से एक थे महात्मा गांधी। महात्मा गांधी युग पुरुष थे जिनके प्रति पूरा विश्व आदर की भावना रखता था। “अहिंसा परमो धर्म:” के सिद्धांत को नीव बना कर विभिन्न आन्दोनलो के माध्यम से महात्मा गांधी ने देश को अग्रेजो की गुलामी से आजाद कराया।

गांधी जी का प्रारंभिक जीवन-

महात्मा गांधी जी का जन्म 2 अक्टूबर सन्न 1869 को गुजरात में पोरबंदर नामक स्थान पर हुआ था। इनका पूरा नाम मोहनदास था। इनके पिता का नाम करमचंद गांधी और माता का नाम पुतलीबाई था। इनके पिता करमचंद गांधी राजकोट के दीवान थे। गांधी की माँ पुतलीबाई धार्मिक स्वाभाव वाली अत्यंत सरल महिला थी। मोहनदास का लालन-पालन वैष्णव मत में रमे परिवार में हुआ। मोहनदास के व्यक्तित्व पर माता के चरित्र की छाप स्पष्ट दिखाई दी। महात्मा गांधी को महात्मा और बापू के नाम से जाना जाता है। 13 वर्ष की आयु में गांधी जी का विवाह कस्तूरबा से करवा दिया गया था।

गांधी जयंती पर भाषण

महात्मा गांधी की शिक्षा

इनकी प्रारंभिक शिक्षा पोरबंदर में हुई और फिर हाई स्कूल की परीक्षा के लिए राजकोट गए। बाद में वकालत इन्होने लन्दन से किया। वकालत की शिक्षा पूरी करने के बाद किसी कारण वश उन्हें अपने क़ानूनी केश के सिलसिले में दक्षिण अफ्रीका जाना पड़ा। वह जाकर उन्होंने रंग के चलते हो रहे भेद-भाव को महसूस किया और उसके खिलाफ अपनी आवाज उठाने की सोच।

गांधी जी के सिद्धांत

गांधीवादी विचारधारा के ये 2 आधारभूत सिद्धांत सत्य और अहिंसा है। गांधी जी का मानना था की जहा सत्य है, वहां ईश्वर है। अहिंसा का अर्थ होता है प्रेम और उदारता की पराकाष्ठा। गांधी जी के अनुसार अहिंसक व्यक्ति किसी दूसरे को कभी भी मानसिक व शारीरिक पीड़ा नहीं पहुँचता। इसके आलावा गांधी जी के सिद्धांतो में शाकाहारी रवैया, ब्रहचर्य, सादगी, विश्वाश भी शामिल है।

महात्मा गांधी के आंदोलन

असहयोग आंदोलन, नमक सत्याग्रह, दलित आंदोलन,  भारत छोड़ो आंदोलन, चम्पारण सत्याग्रह, खेड़ा सत्याग्रह, खिलाफत आंदोलन, सविनय अवज्ञा आंदोलन आदि सभी महात्मा गांधी के स्वतंत्रता आंदोलन का हिस्सा है।

गांधी जी की हत्या

मोहनदास करमचंद गांधी जी की हत्या 30 जनवरी 1948 की शाम को नयी दिल्ली स्थित बिड़ला भवन में गोली मारकर की गयी थी। वे रोज शाम वहां प्राथना किया करते थे। 30 जनवरी 1948 की शाम जब वे सांध्यकालीन प्राथना के लिए जा रहे थे तभी नाथूराम गोडसे उनके पैर छूने का अभिनय करते हुए उनके सामने जाकर उनपर बेरेटा पिस्तौल से तीन गोलिया दाग दी। इस हत्याकांड में नाथूराम सहित 7 लोगो को दोषी पाया गया।

गांधीजी का अद्भुद नेतृत्व

महात्मा गांधीजी में नेतृत्व की अद्भुद समता थी। सरल भाषा में दिए गए उनके भाषण देशवासियो पर जादू सा असर करते थे और उन्हें देश के प्रति जागृत करते थे। उनकी एक पुकार पर आजादी के दीवानो की टोलिया मातृभूमि पर बलिदान होने के लिए निकल पड़ती थी। पच्चीस वर्षो से भी अधिक समय तक उन्होंने अंग्रेजी हुकूमत के विरुद्ध कई अहिंसक आंदोलन चलाये थे। अतः में अग्रेज शासको की लाठियों बन्दूको, तोपों, और बमो पर अहिंसा ने विजय पायी और सदियों से गुलाम रहा भारत आजाद हुआ।  इसीलिए गाँधी जी युगपुरुष कहलाये गए।

उपसंहार

गांधी जी ने प्रेम और भाई चारे की भावना से भारत की जनता के ह्रदय पर राज किया। वे देश में साम्राज्य स्थापित करना चाहते थे। उन्होंने देश को आजाद करवाया। हमारा दुर्भाग्य था की इस नेता का मार्गदर्शन हम स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद अधिक समय तक नहीं पा सके और नाथूराम गोडसे की गोली से 30 जनवरी 1948 को गांधीजी की जीवन लीला समाप्त हो गयी।

गांधी जयंती पर भाषण

महात्मा गांधी पर निबंध 150 शब्दों में

Gandhi Jayanti Per Nibandh (गांधी जयंती पर निबंध 1000 शब्दों में)
Gandhi Jayanti Per Nibandh (गांधी जयंती पर निबंध 1000 शब्दों में)

महात्मा गांधी कक जन्म 2 अक्टूबर 1869 गुजरात के पोरबंदर में हुआ। गांधीजी का पूरा नाम मोहनचंद्र करमचंद गांधी था। सम्पूर्ण भारत में उन्हें बापू के नाम से जाना जाता है। इन्होने अपनी शुरुआत की शिक्षा गुजरात के ही स्कूल में की और आगे की पढ़ाई के लिए इंग्लैंड चले गए। गांधी जी ने इंग्लैंड में अपनी वकालत की पढ़ाई पूरी की। जब गांधीजी अपनी पढ़ाई करने के लिए भारत से भहर विदेश में गए तो उन्होंने देखा की वहा पर काले और भारतीय लोगो के बीच में भेदभाव किया जाता है और भारत के लोगो से भी बर्बरता पूर्वक व्यवहार किया जाता है। इसके लिए गांधीजी भारत में आकर आंदोलन किया। महात्मा गांधी जी भारत के राष्ट्रपिता माने जाते है और इनकी जयंती एक विशेष कार्यकर्म के रूप में मनाई जाती है। इनकी जयंती हर साल 2 अक्टूबर को मनाई जाती है। आजादी के एक साल बाद ही गांधी जी की नाथूराम गोडसे ने 30 जनवरी 1948 को गोली मार दी थी। गांधी जी ने अग्रेजो के खिलाफ कई आंदोलन किये जिससे हमें आजादी मिल पायी और अग्रेज भारत छोड़कर निकल गए। भारत की आजादी के पीछे गांधीजी की बहुत बड़ी भूमिका है। महात्मा गांधी अहिंसा और सच्चाई के सच्चे पुजारी थे।

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